उत्तराखंड डेली न्यूज़:ब्योरो
सुप्रीम कोर्ट द्वारा मंदिर-मस्जिद को लेकर नए केस स्वीकार करने पर रोक लगाए जाने के बीच प्लेस ऑफ वर्शिप ऐक्ट-1991 को चुनौती देने वाले वकील अश्विनी उपाध्याय ने कहा है, “अधिनियम धार्मिक चरित्र की बात करता है… धार्मिक चरित्र को केवल देखकर… परिभाषित नहीं किया जा सकता।” उन्होंने कहा, “कोई भी कानून बाबर… जैसे आक्रमणकारियों के अवैध कामों को वैध नहीं ठहरा सकता।”